विवाह के लिए सर्वोत्तम साथी आपका स्मार्टफोन?
ऐसा कहीं होता है कि आप अपने फोन से ही विवाह कर लें , पर ऐसा हुआ है अमेरिका के लास वेगास शहर मे एर्रोन चवेंक ने अपने स्मार्टफोन से ही शादी कर ली , बहुत अनोखी पर सच बात यही है कि हममे आपमें ज्यादातर लोग अपने फोन से ही ‘’ विवाहित ‘’ हैं . स्मार्टफोन हमारे लिए सूचना की दुनिया के दरवाज़े खोलता है , लेकिन आज हम इसके गुलाम बन चुके है . हर वक़्त फोन को चेक करते रहते हैं चाहे खाना खा रहें हो , टी.वी. देख रहें हो ,कोई भी काम कर रहें हो यहाँ तक की ड्राइविंग करते हुए भी फोन को नही छोड़ते .
स्मार्टफोन हमारे लिए एक बुरी लत बन चुका है . सोते जागते हर वक़्त फोन को अपने सीने से लगाए रखतें हैं , बार बार पढने मे आता है कि फोन को अपने बहुत करीब न रखें ये सेहत के लिए बहुत घातक हो सकता है परन्तु इसकी इतनी आदत पड चुकी है कि अब इसके बिना जीने की कल्पना भी नही कर सकते .
इसका ताज़ा उदहारण गुडगाँव के राहुल वर्मा का है ,राहुल एक स्टार्टअप मे काम करते हैं , खली वक़्त मे वो गेमिंग सॉफ्टवेयर तैयार करते हैं , पिछले 5 साल से उनका हर वक़्त का साथी उनका स्मार्टफोन ही रहा है , वो 5 साल मे 10 मॉडल बदल चुके हैं और रोजाना 4 घंटे से ज्यादा फोन का इस्तेमाल करते हैं . राहुल काम, खेल, नेटवर्किंग, एन्टरटेन्मेंट ,इन्फॉर्मेशन, या बिल पे करने के लिए अपने फोन का ही इस्तेमाल करते है . फोन के साथ इतना समय बिताने का नुकसान भी वो उठा रहें हैं , उनके सुनने की शक्ति तेजी से क्षीण होती जा रही है . आँखों से कम दिखाई देने लगा है , उनकी ऊंगलियों में दर्द रहने लगा है , इन् सबके बावजूद भी उनका कहना है कि वो फोन को एक मिनट के लिए भी नही छोड़ सकते.
इसी तरह सेल्फी की दीवानगी के कारण 27 साल के नील गुप्ता का विजन सिर्फ 6 महीनो मे 0.5 से बढ़कर +1 हो गया है .काफी संख्या मे स्मार्टफोन को इस्तेमाल करने वाले अपनी तकलीफों को लेकर डॉक्टर के पास जा रहें है .
साकेत के मैक्स हॉस्पिटल के END के हेड डॉ. संजय सचदेव ने बताया ‘’ हमारे पास अक्सर ऐसे मरीज आते हैं जो आमतौर पर स्वस्थ होतें हैं ,लेकिन उन्हें लगता है कि स्मार्टफोन के जरुरत से ज्यादा इस्तेमाल के कारण उनकी सुनने की क्षमता पर असर हुआ है .’’ इस तरह के तेजी से बढ रहे मामलों के बावजूद स्मार्टफोन का इस्तेमाल कम नही हुआ है .
माइक्रोमेक्स के चीफ मार्केटिंग ऑफिसर शुभोजीत सेन के मुताबिक स्मार्टफोन को लेकर मुख्य तौर पर दो तरह के पैटर्न देखने को मिल रहें हैं , पहले ऐसे यूजर्स जो लगातार 30 मिनट तक स्मार्टफोन पर रहतें हैं , दुसरे ऐसे जो हर 30 सेकंड पर फोन को चेक करते रहते हैं .इस तरह से दिनभर मे कम से कम 200 बार फोन देखतें हैं . एरिक्सन मोबिलिटी की रिपोर्ट के अनुसार भारत मे 2015 से 2021 के दौरान प्रति एक्टिव स्मार्टफोन यूजर्स डेटा ट्रेफिक मे पाँच गुना बढ़ोत्तरी का अनुमान है .